
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुधवार से शुरू हो रहे दो दिवसीय ब्रिटेन दौरे के दौरान केवल मुक्त व्यापार समझौते (FTA) पर ही हस्ताक्षर नहीं करेंगे, बल्कि खालिस्तानी चरमपंथ और आर्थिक भगोड़ों के प्रत्यर्पण का मुद्दा भी प्रमुखता से उठाएंगे।
पीएम मोदी ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टारमर के साथ भारत-यूके संबंधों पर व्यापक चर्चा करेंगे और किंग चार्ल्स तृतीय से भी मुलाकात की संभावना है।
सरकारी सूत्रों के अनुसार, ब्रिटेन में सक्रिय भारत विरोधी खालिस्तानी समूहों की गतिविधियां भारत के लिए गंभीर चिंता का विषय बनी हुई हैं।